राज काफी होनहार छात्र था और स्वभाव भी बहुत अच्छा था बड़ो का सम्मान चोटें से प्यार सब अच्छे गुण थे. उसको इंजीनियरिंग के एंट्रेंस मैं अच्छे नंबर आये उसका भोपाल में अच्छे कॉलेज में सीट मिला. वो कुछ दिनों बाद भोपाल की और चल पड़ा और ट्रैन में काफी लोग भोपाल की और जा रहे है और उनमे से कुछ बच्चे ऐसे थे जो उसी कॉलेज में एडमिशन लेने जा रहे थे राज ने कुछ लड़को के साथ बात कर वही दोस्ती करली और संयोग की बात ये हुई की वोलोग को हॉस्टल में एक ही कमरा भी मिला. हॉस्टल में सब सामान सेट करने के बाद राज अपने घर में फ़ोन कर के अपनी हॉस्टल के बारे में बताता है और वो ट्रैन का सफर. राज कंप्यूटर साइंस की पढाई करने के लिए आया था और थोड़ा सा घबराया हुआ था पहले दिन के क्लास में काफी भीड़ थी क्लास में देखा बहुत सारे बच्चो ने अच्छे कपडे पहने हुए थे और वो साधारण कपडे पहने हुए था वो अपने दोस्तों के साथ एक बेंच देख कर बैठ जाता है. क्लास शुरू होती है एक सरजी आते हैं और वो उस कॉलेज के बारें में बताते हैं की इस कॉलेज से पढ़ने वाले सब छात्र अच्छे औदा में पहुँचते है वगेरह वगेरह . फिर वो सर अपना पीछे कराने के लिए एक एक छात्र से पूछते है. सभी चतरा और छात्राएं अपना परिचय देने लगती है तभी राज की नज़र एक लड़की पर जाती है वो परिचय देती रहती है " मेरा नाम श्रद्धा है और में इंदौर से हूँ " फिर दुसरे की बारी आती है पर राज की नज़र उस लड़की के ऊपर से हटती ही नहीं हैं इतनी खूबसूरत और प्यारी है वो लड़की यही सोच में पद जाता है और उसकी बारी आने पर वो खोया खोया रहता है. उसके दोस्त जोर जोर से हिलाते है तो वो ख्वाब से जगता है लेकिन तब तक साड़ी क्लास हँसते रहती है राज को काफी शर्मिंदगी महसूस होती है.
कॉलेज खत्म होने के बाद जब वो अपने हॉस्टल के कमरे में आएं और राज तो सिर्फ उस लड़की के बारे में बात कर रहा था "कितिनि खूबसूरत लड़की है यार नाम भी कितना खूबसूरत श्रद्धा वाह क्या लड़की है यार" यही बार बार नाम जाप कर रहा था तभी उसके दोस्तलोगो ने उसे जगाया और कहा की वो यहाँ किस काम के लिए आया है और वो क्या कर रहा है उसके दोस्तलोग ने उसके मम्मी पापा के बारे में सोचने को कहा उनलोगो ने कहा की उसके माँ बाप ने क्या सोच कर भेजा और वो क्या कर रहा है ये सब सुनकर राज की आँखें खुल गयी उसने सोचा में भी क्या सोच में लग गया वो भी पहले दिन से फिर राज ने अपने माँ बाबा की तस्वीर नकली और उनसे वाद किया की वो कुछ काबिल बन कर ही इस कालेज से निकलेगा और वो अपने काम पे लग गया जिस काम से वो आया था. अगले दिन जब वो कालेज में वापिस गे तो वो पूरी तरह से कोशिश कर रहा था की उस लड़की की तरफ बिलकुल ना देखा जाय और अपने काम से काम रखे पर उसकी ध्यान वहा अपने आप ही खींची चली आरही थी और वो खुद को संभालने की पूरी कोशिश कर रहा था .
अब चार साल बाद का दृश्य : श्रद्धा काफी हफ्ते हुए भाग रही है काफी दरी हुई है और बहुत तेज भाग रही है कोई उसके पीछे पड़े हुए बहुत सारे प्राणघात हथियार हाथ में पकडे हुए. कम से कम दस लोग उसके पीछे पड़े हुए थे उसे मारने को.
पर इतने सारे लोग क्यों पीछा कर रहे है श्रद्धा का ? क्यों वोलोग उसकी जान लेना चाहते है ? क्या हुआ होगा उसके साथ ?
आगे और है
कॉलेज खत्म होने के बाद जब वो अपने हॉस्टल के कमरे में आएं और राज तो सिर्फ उस लड़की के बारे में बात कर रहा था "कितिनि खूबसूरत लड़की है यार नाम भी कितना खूबसूरत श्रद्धा वाह क्या लड़की है यार" यही बार बार नाम जाप कर रहा था तभी उसके दोस्तलोगो ने उसे जगाया और कहा की वो यहाँ किस काम के लिए आया है और वो क्या कर रहा है उसके दोस्तलोग ने उसके मम्मी पापा के बारे में सोचने को कहा उनलोगो ने कहा की उसके माँ बाप ने क्या सोच कर भेजा और वो क्या कर रहा है ये सब सुनकर राज की आँखें खुल गयी उसने सोचा में भी क्या सोच में लग गया वो भी पहले दिन से फिर राज ने अपने माँ बाबा की तस्वीर नकली और उनसे वाद किया की वो कुछ काबिल बन कर ही इस कालेज से निकलेगा और वो अपने काम पे लग गया जिस काम से वो आया था. अगले दिन जब वो कालेज में वापिस गे तो वो पूरी तरह से कोशिश कर रहा था की उस लड़की की तरफ बिलकुल ना देखा जाय और अपने काम से काम रखे पर उसकी ध्यान वहा अपने आप ही खींची चली आरही थी और वो खुद को संभालने की पूरी कोशिश कर रहा था .
अब चार साल बाद का दृश्य : श्रद्धा काफी हफ्ते हुए भाग रही है काफी दरी हुई है और बहुत तेज भाग रही है कोई उसके पीछे पड़े हुए बहुत सारे प्राणघात हथियार हाथ में पकडे हुए. कम से कम दस लोग उसके पीछे पड़े हुए थे उसे मारने को.
पर इतने सारे लोग क्यों पीछा कर रहे है श्रद्धा का ? क्यों वोलोग उसकी जान लेना चाहते है ? क्या हुआ होगा उसके साथ ?
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